मैं खुशी खुशी में सड़क पर अपने
कुछ दोस्तों के साथ पटाखे
फोड़ने लगा .. अभी एक
पटाखे में बत्ती छिल कर
चिंगारी लगाई
ही थी की सामने से एक
आंटी आती दिखी ..
मैं और में दोस्त हम सब
चिल्लाने लगे ...
आंटी पटाखा है ....
.
.
आंटी पटाखा है ..
.
.
आंटी पटाखा है ...
.
.
.
आंटी मुस्कराई और बोली :
.
" नही रे पगलो , अब
पहले जैसी बात कहाँ
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